डिजिटल कि इस दुनिया में आजकल आपकी जानकारी निकालना किसी के लिए भी कोई बड़ी बात नहीं है. आपका डाटा आपके सोशल साइट से ले लिया जाता है.
यूरोप का नया डाटा प्राइवेसी नियम लागु होने वाला है. इस देता नियम के तहत यूजर्स के डाटा प्राइवेसी को लेकर और सुविधा मिलेगी तो वही विज्ञापनों के लिए दूसरी कंपनियों द्वारा इस्तेमाल किए गए डेटा को लेकर अब कंपनी को जवाब देना होगा.
आपको बता दें, कि नियमों को बनाने में कई सालों का लंबा वक्त लगा है. जिसके बाद सभी कंपनियां यूरोपियन यूनियन के मुताबिक अब नये सिरे से अपनी प्राइवेसी पॉलिसी लिख रही है. इन नियमों को अमेरिका और दूसरी जगह पर भी फॉलो किया जाएगा.जहां नियम थोड़े कमजोर है .
नियमों की वजह से यूजर्स के लिए ज्यादा कुछ नहीं बदलेगा, क्योंकि कंपनियां आपके फोन से आपका पर्सनल डाटा लेती रहेगी, जिसमें आपके द्वारा इस्तेमाल किए जाने वाले ऐप्स और वेब साइट शामिल है.
हालांकि, इसमें यूजर्स को जिस एक बात का फायदा हो रहा है. वह यह है कि कंपनी को अपनी प्राइवेसी पॉलिसी को इस नए नियम के तहत बनाना होगा कि वह यूजर्स का डेटा इस्तेमाल कर रही है या नहीं.
इस नियम के बाद एक बात तो तय ,है कि प्राइवेसी पॉलिसी को लेकर कंपनियों को कड़े कदम उठाने पड़ेंगे, तो वही अपनी प्राइवेसी पॉलिसी में भी बदलाव करना होगा. इन नियमों का पालन ना करने पर यूरोपियन यूनियन के पास कंपनी के खिलाफ एक्शन लेने का अधिकार होगा.