वायरल वीडियो से रातों रात पूरे देश में मशहूर होने वाले बाबा बाबा का ढाबा चलाने वाले कांता प्रसाद ने आ’त्म’ह’त्या की कोशिश की है। उन्हें शुक्रवार को सफदरजंग अ’स्प’ता’ल में भ’र्ती कराए गए। मिली जानकारी के मुताबिक कांता प्रसाद बीते कुछ दिनों से मा’नसिक त’ना’व में थे और शुक्रवार को उन्होंने नीं’द की गो’लि’यां खा लीं। इसकी वजह से नींद उनकी हालत ख’राब हो गई जिसके बाद उन्हें सफदरजंग अ’स्पता’ल में भ’र्ती कराया गया।
बताया जा रहा है कि अभी बाबा कांता प्रसाद ख’त’रे से बाहर हैं। पुलिस को इस बारे में अस्पताल से ही जानकारी मिली है। दिल्ली पुलिस के डीसीपी साउथ अतुल ठाकुर ने बयान दिया है कि 80 साल के कांता प्रसाद को देर रात सफदरजंग अस्प’ता”ल में भ’र्ती कराया गया था। कांता प्रसाद ने श’रा’ब पी थी और नींद की गो’लियां खा ली थीं। कांता प्रसाद के बेटे का बयान ले लिया गया है, मामले की जांच की जा रही है।
Delhi | Kanta Prasad, 80 y/o owner of ‘Baba Ka Dhaba’ was admitted to Safdarjung Hospital last night. He had brought in an unconscious condition after he consumed alcohol & sleeping pills. Statement of his son has been recorded for the same. Probe on: DCP South Atul Thakur
— ANI (@ANI) June 18, 2021
जानकारी के लिए आपको बता दें, पूरे देश में वीडियो के जरिए देशभर में कांता प्रसाद चर्चा में आए थे। उनकी मदद के लिए कई लोगों ने मदद का हाथ बढ़ाया था, जिसके बाद उनकी आर्थिक स्थिति काफी बेहतर हो गई थी और बाद में उन्होंने एक नया रेस्टोरेंट खोला था, हालांकि दुर्भा’ग्य’वश लॉकडाउन में रेस्टोरेंट पर ताला लगने के कारण उन्हें काफी नुक’सान हुआ था, जिसके बाद उन्होंने इसे बंद कर दिया था।
इसको लेकर बाबा के बेटे ने बताया था कि रेस्टोरेंट में खर्चे के अनुसार कमाई बेहद कम हो रही थी। रेंट, काम करने वाले लड़कों की तनख्वाह, बिजली और पानी का बिल भरना पड़ता था। रेस्टोरेंट खोलने में डेढ़ लाख से अधिक पैसे लगे थे।
रेस्टोरेंट बंद होने के बाद हमने सारा सामान बेच दिया, जिससे 30 से 40 हजार रुपये मिले। बाबा के बेटे के अनुसार, रेस्टोरेंट में यदि महीने का खर्चा 2 लाख रुपये था तो कमाई सिर्फ 15 हजार रुपये हो रही थी।