दिल्ली के बॉर्डर पर भारत देश के किसानों को आंदोलन करते हुए लगभग 100 दिन से ज्यादा का समय हो गया हैं और ये सभी किसान केंद्र की मोदी सरकार के खिलाफ द्वारा बनाए कृषि कानूनों की वजह से बॉर्डर पर बैठे हुए हैं लेकिन सरकार अभी तक इस आंदोलन को खत्म करने के लिए कोई बड़ा फैसला नहीं ले रही है। और आंदोलन अभी भी आंदोलन जारी है। वहीं इस बीच इस आंदोलन को लेकर कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने केंद्र की मोदी सरकार पर निशाना साधा है।
कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने किसान आंदोलन को लेकर केंद्र की मोदी सरकार पर तंज कसते हुए कहा है कि मोदी सरकार को तीनों कानूनों को हर सूरत में वापस लेना होगा। केरल की वायनाड लोकसभा सीट से राहुल गांधी ने ट्वीट करते हुए लिखा कि अन्नदाता का बारिश से नाता पुराना, ना डरते ना करते मौसम का बहाना, तो क्रूर सरकार को फिर से बताना, असंभव किसानों को पीछे हटाना, तीनों क़ानूनों को पड़ेगा लौटाना।
अन्नदाता का बारिश से नाता पुराना
ना डरते ना करते मौसम का बहाना
तो क्रूर सरकार को फिर से बताना
असंभव किसानों को पीछे हटाना
तीनों क़ानूनों को पड़ेगा लौटाना! #FarmersProtests— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) March 10, 2021
जानकारी के अनुसार, कृषि कानूनों को लेकर किसानों और केंद्र के नेताओं के बीच कई दौर की बैठक हुई और ये बैठक राजधानी दिल्ली में हुई है। लेकिन इस बैठक में कोई हल नहीं निकला और अभी तक आंदोलन जारी है। वहीं इस किसना आंदोलन के साथ किसानों के मुद्दो को लेकर कांग्रेस समेत कुछ दलों की ओर से यूपी में किसान महापंचायत का आयोजन कर उन्हें अपने पक्ष में करने के प्रयास के तहत काम कर रही है।
इसी के साथ इस किसान आंदोलन की वजह से सबसे ज्यादा चर्चा में रहे भारतीय किसान यूनियन (भाकियू) के नेता राकेश सिंह टिकैत ने कहा कि यह आंदोलन शांतिपूर्ण तरीके से धीरे-धीरे जारी रहेगा। राकेश टिकैत ने कहा कि, “पूरे देश में बड़ी-बड़ी पंचायतें होती रहेंगी।
धरने और बैठकस्थल पर चलती चलती रहेगी।” वहीं जब टिकैत से सरकार से बातचीत बोला है कि उन्होंने कहा कि “जब सरकार को आवश्यकता होगी तो बात करेगी। हमें तो जरूरत है नहीं। ना ही हमारे कहने से सरकार बात करेगी। तीनों कानून वापस लेने और MSP पर कानून बनाने के लिए सरकार तैयार हो तो बात कर लेंगे नहीं तो ऐसे ही चलता रहेगा।”
आपको बता दें, दिल्ली की विभिन्न सीमाओं पर केंद्र सरकार के तीनों नए कृषि कानूनों के खिलाफ पिछले 100 दिनों से ज्यादा समय से हजारों की संख्या में किसान आंदोलन कर रहे हैं। वहीं इस किसान आंदोलन का नेतृत्व भारतीय किसान यूनियन (भाकियू) के नेता राकेश सिंह टिकैत कर रहे हैं। इसी के साथ नरेश टिकैत और राकेश टिकैत भी इन कानूनों के खिलाफ जारी आंदोलन का पिछले 100 दिनों से अधिक समय से नेतृत्व कर रहे हैं।
वहीं इस आंदोलन को लेकर किसान नेता महेंद्र सिंह टिकैत के बेटे नरेंद्र टिकैत ने कहा है कि किसान मोदी सरकार के दूसरे कार्यकाल के बचे साढ़े तीन साल तक दिल्ली की सीमाओं पर बैठे रहने को तैयार हैं। वहीं इस आंदोलन का असर दिल्ली और एनसीआर में देखने को मिल रहा है इस आंदोलन की वजह से दिल्ली के बॉर्डर बबंद हैं और यातायात की बड़ी परेशानी हो रही है।