दुनिया के हर क्रिकेट खिलाड़ी का सपना होता है कि वह विश्व कप में अपने देश का प्रतिनिधित्व करें। Team India के कई खिलाड़ियों ने 2 से अधिक बार विश्व कप में भाग लेकर खुद का नाम रोशन किया है।
कई ऐसे भी खिलाड़ी हुए हैं जिन्हें वर्ल्ड कप की खिताबी जीत में अंतिम ग्यारह में भी शामिल होने का मौका मिला है और विश्व कप की खिताबी जीत हासिल करना किसी भी खिलाड़ी के लिए उसकी जिंदगी का सबसे गौरवान्वित पल होता है।
भारत के लिए 24 साल तक अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट खेलने वाले सचिन तेंदुलकर (Sachin Tendulkar) का उनका यह सपना उनकी आखिरी वनडे विश्वकप (2011) में पूरा हुआ। साल 2011 में टीम इंडिया (Team India) ने श्रीलंका (Sri Lanka) को हराकर अपना दूसरा वर्ल्ड कप जीता था।
टीम इंडिया अब तक कुल 2 बार वनडे विश्व कप अपने नाम कर चुकी है और एक बार साल 2003 के वनडे विश्व कप में भारत की टीम सेमीफाइनल में भी पहुंचने में कामयाब रही थी, जहां पर उसे आस्ट्रेलिया (Australia) के हाथों हार का सामना करना पड़ा था।
दूसरी तरफ महेंद्र सिंह धोनी (MS Dhoni) की अगुवाई में टी-20 फॉर्मेट का पहला वर्ल्ड कप भी भारत में अपने नाम किया था। टीम को विश्वकप जैसा बड़े टूर्नामेंट काखिताब दिलाने के लिए वैसे तो पूरी टीम का योगदान होता है मगर कुछ ऐसे खिलाड़ी होते हैं जिनके दम पर टीम खिताब जीतने में कामयाब होती है।
इस आर्टिकल के जरिए हम उन्हीं खिलाड़ियों का जिक्र करने जा रहे हैं जिनके दम पर टीम इंडिया ने ना सिर्फ टूर्नामेंट का खिताब अपने नाम किया बल्कि वे मैन आफ द टूर्नामेंट भी बने। भारत के लिए अब तक 2 खिलाड़ियों ने ऐसा करने में कामयाबी पाई है जिनके बारे में हम आपको आगे बताने जा रहे हैं।
सचिन तेंदुलकर (वर्ल्ड कप में 2 दो बार बन चुके हैं मैन आफ द टूर्नामेंट)
टीम इंडिया के पूर्व दिग्गज बल्लेबाज सचिन तेंदुलकर (Sachin Tendulkar) वैसे तो रिकार्डों के बादशाह हैं। लेकिन उन्होंने दो बार वनडे विश्व कप में मैन ऑफ द टूर्नामेंट का खिताब हासिल किया है।
सचिन तेंदुलकर ने अपने क्रिकेट कैरियर के दौरान कुल 6 वर्ल्ड कप खेलने हैं। लेकिन उनके लिए साल 2003 का दक्षिण अफ्रीका की सरजमीं पर खेला गया विश्व कप कई मामलों में खास रहा था।
इस टूर्नामेंट में सचिन तेंदुलकर ने बल्ले से शानदार प्रदर्शन करते हुए टीम इंडिया को सेमीफाइनल तक पहुंचाया था। जिसके लिए उन्हें मैन ऑफ द टूर्नामेंट का खिताब भी मिला था। विश्व कप (2003) में सचिन तेंदुलकर ने कुल 673 रन बनाए थे। लेकिन वर्ल्ड कप के खिताबी मुकाबले में भारतीय टीम को आस्ट्रेलिया के हाथों कड़ी हार झेलनी पड़ी थी।
युवराज सिंह (Yuvraj Singh)
टीम इंडिया के पूर्व ऑलराउंडर खिलाड़ी युवराज सिंह (Yuvraj Singh) ने भारत को साल 2011 का वनडे विश्व कप बताने में महत्वपूर्ण भूमिका अदा की थी।
उन्होंने शानदार प्रदर्शन करते हुए भारत के लिए टूर्नामेंट में 362 रन बनाने के साथ 15 विकेट भी हासिल किए थे। जिसके लिए उन्हें मैन आफ द टूर्नामेंट का खिताब दिया गया था और उनके शानदार प्रदर्शन की बदौलत भारतीय टीम ने फाइनल मुकाबले में श्रीलंका (Sri Lanka) को हराकर 28 साल के लंबे अंतराल के बाद दूसरी बार विश्व कप पर कब्जा जमाया था।