इंग्लैंड की सरजमी पर 7 जून से लेकर 11 जून तक खेले गए आईसीसी विश्व टेस्ट चैंपियनशिप के फाइनल मुकाबले के लिए भारतीय टीम की प्लेइंग इलेवन में जगह न बना पाने वाले आर अश्विन ने अब बड़ा बयान दिया है।
वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप के फाइनल मुकाबले में क्रिकेट ऑस्ट्रेलिया की टीम ने भारतीय टीम को 209 रनों से धूल चटाका ट्रॉफी पर कब्जा जमाया था। इससे पहले उसे साल 2021 के आईसीसी विश्व टेस्ट चैंपियनशिप में न्यूजीलैंड क्रिकेट टीम ने 8 विकेट से हराया था। टीम की हार के बाद अगर सबसे ज्यादा किसी खिलाड़ी की आलोचना हुई है तो वह कोई और नहीं बल्कि भारतीय टीम के कप्तान रोहित शर्मा है।
उन पर खराब टीम सिलेक्शन को लेकर लगातार सवाल खड़े किए जा रहे हैं। उन्होंने पिच पर घास देखकर पहले गेंदबाजी चुनी थी। ऐसे में उन्होंने अपनी प्लेइंग इलेवन में आर अश्विन को शामिल नहीं किया था, जिसे लोग अब कप्तान की बड़ी भूल बता रहे हैं।
फाइनल तक पहुंचाने में रही है अहम भूमिका
आर अश्विन को भले ही फाइनल मुकाबले में नहीं खिलाया गया है लेकिन उनके शानदार प्रदर्शन के दम पर ही भारतीय टीम ने 2023 के आईसीसी विश्व टेस्ट चैंपियनशिप के फाइनल में जगह बनाई थी।
फाइनल के लिए टीम में न शामिल किए जाने के बाद उन्होंने अब बड़ा खुलासा करते हुए कहा है कि उन्हें इस बारे में तकरीबन 48 घंटे पहले ही मालूम हो गया था।
‘मैं इस फाइनल में बेशक खेलना चाहता था लेकिन…’
एक मीडिया प्लेटफार्म पर बात करते हुए उन्होंने कहा,’मैं इस फाइनल में बेशक खेलना चाहता था, क्योंकि टीम को यहां तक पहुंचाने में मेरा भी योगदान था। पिछले वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप फाइनल में मैंने अच्छी गेंदबाजी करते हुए 4 विकेट हासिल किए थे। 2018 और 2019 के बाद विदेशी सरजमीं पर मेरा प्रदर्शन बढ़िया रहा है। मैंने टीम के लिए मैच विनिंग परफॉर्मेंस दी है। मैं इसे कोच और कप्तान के नजरिए से देख रहा हूं और हालात समझने की कोशिश कर रहा हूं। जब हम आखिरी बार इंग्लैंड में थे, तो वह टेस्ट सीरीज 2-2 से ड्रा हुई थी।
तब टीम ने यह एहसास करा लिया था कि इंग्लैंड में विनिंग कांबिनेशन चार पेसर और एक स्पिनर का है। शायद फाइनल से पहले उनके दिमाग में यही चल रहा होगा।’
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48 घंटे पहले हो गया था मालूम
आर अश्विन ने अपनी बातचीत ने आगे कहा,’उन्हें इस बात की प्रसन्नता है कि उन्होंने सोचा कि मैं फाइनल खेलने के लिए अच्छा हूं। लेकिन सच्चाई यह है कि ना तो मुझे खेलने का मौका मिला और ना ही कि विश्व खिताब। मुझे 48 घंटे पहले पता था कि मैं नहीं खेलूंगा इसलिए मेरे लिए लक्ष्य था कि मैं टीम को खिताब जिताने में हर तरह से सहायता करूं, क्योंकि मैंने इसमें भूमिका निभाई थी।’
संन्यास लेने के बाद एक बात का अफसोस रह जाएगा..
आर अश्विन ने आगे कहा कि, “कल जब मैं क्रिकेट को अलविदा कहूंगा तो मुझे अफसोस होगा कि अच्छा बल्लेबाज होने के बाद भी मुझे गेंदबाज के तौर पर आगे नहीं बढ़ना चाहिए था। मुझे लगता है कि गेंदबाज और बल्लेबाजों से अलग-अलग बर्ताव किया जाता है।”
गौरतलब है कि वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप के फाइनल में भारतीय टीम की हार के बाद सुनील गावस्कर वीरेंद्र सहवाग, सचिन तेंदुलकर जैसे दिग्गजों आर अश्विन को फाइनल की प्लेइंग इलेवन में जगह ना देने को लेकर सवाल खड़े किए थे। लेकिन अब अश्विन ने तस्वीर साफ कर दी है कि उन्हें काफी पहले पता चल गया था कि उन्हें प्लेइंग इलेवन में जगह नहीं मिलने वाली है।
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